बिहार की भाषाएँ एवं बोलियाँ, bihar ki bhasha aur boliyan, bihar ki bhasha koun koun si hai, bihar mein koun koun si bhasha boli jaati hai
बिहार की राज्यभाषा हिंदी है, जबकि उर्दू इस राज्य की द्वितीय राज्यभाषा है. वर्तमान बिहार की बोलियों को ग्रियर्सन नामक विद्वान ने बिहारी भाषा में संबोधित किया है. बिहार में भाषा वर्ग की दृष्टि से सामान्यतः दो परिवारों की भाषाएं बोली जाती है-
आर्य परिवार की भाषाओं को बिहारी भाषा का नाम दिया गया है, जिसके अंतर्गत निम्नलिखित तीन बसे प्रमुख है- म
मगध जनपद में बोली जाने वाली मगध ही आजकल मगही के रूप में प्रसिद्ध है, वर्तमान में पटना, नालंदा का गया जिलों में मगही भाषा अधिक बोली जाती है. प्राचीन महाजनपद की प्रमुख भाषा थी और इसे क्षेत्र में अभी भी यही प्रमुख भाषा है.
इस भाषा के विकास व संवर्धन में लक्ष्मी नारायण पाठक, हरिहर पाठक, जय गोविंद दास, बाल गोविंदा जी का महत्वपूर्ण योगदान रहा है. श्रीनिवास की प्रारंभिक रचनाएं भी मगही भाषा में ही है.
राजा भोज के वंशजों ने अपने राज्य की स्थापना मल्ल जनपद में की थी और अपनी राजधानी का नाम भोजपुर रखा था. कुशीनगर के नाम पर इस भू-भाग में बोली जाने वाली बोली भोजपुरी कहलायी.
पश्चिम बिहार के भोजपुर, रोहतास, छपरा, सिवान, गोपालगंज, पूर्वी और पश्चिमी चम्पारण आदि जिलों सहित उत्तर प्रदेश के कई हिस्सों में भोजपुरी बोली जाती है. क्षेत्रीयता के कारण भोजपुरी भाषा के अनेक भेद हो गए हैं. भोजपुरी के माध्यम र का लोप हो जाता है.
भोजपुरी भाषा के विकास में भिखारी ठाकुर, रघुवीर नाथ, महेंद्र मिश्रा, बाबू रघुवीर नारायण, मनोरंजन प्र. सिन्हा आदि का विशेष योगदान रहा है. भोजपुरी भाषा के अनेक फिल्मों एवं टीवी धारावाहिकों के निर्माण होने तथा महुआ, महुआ न्यूज़, हमारा टीवी आदि भोजपुरी चैनलों के आरंभ हो जाने के कारण भोजपुरी के प्रचार-प्रसार एवं लोकप्रियता में काफी वृद्धि हुई है, संप्रति भोजपुरी भाषा मारीशस, फिजी, नेपाल सहित कई अन्य देशों में बोली जाती है.
मैथिली मुख्यतः दरभंगा, मधुबनी, समस्तीपुर, सहरसा, मधेपुरा, सुपौल, अररिया, सीतामढ़ी और पूर्णिया में बोली जाती है. बिहार के अलावा यह जनकपुर धाम नेपाल की तराई क्षेत्रों में भी बोली जाती है. मैथिली भाषा का वर्तमान स्वरूप 10 वीं शताब्दी में हुआ माना जाता है. 10 वीं शताब्दी में मैथिली की सबसे पहली रचना ज्योतिष द्वारा रचित रत्नाकर मानी जाती है.
अंगिका भाषा भागलपुर जिले की मूल भाषा है. इसे भागलपुरी भी कहते हैं. अंगिका भाषा जमुई, लखीसराय, मुंगेर, बेगूसराय, खगड़िया आधी जिलों में भी बोली जाती है.
यह मैथिली का ही परिवर्तित रूप है, अंत: इसे मैथिली की उपभाषा माना जाता है. अंगिका भाषा की प्राचीन लिपि में छठी शताब्दी में ललित विस्तार नामक बौद्ध ग्रंथ की रचना है.
वज्जिका मुख्यत: एवं मुजफ्फरपुर जिले की भाषा है. तिरुहूत क्षेत्र में बोली जाने वाली भाषा को भी मैथिली की एक ऐसा माना जाता है.
आज इस आर्टिकल में हम आपको बताएँगे की अपने डॉक्यूमेंट किससे Attest करवाए - List…
निर्देश : (प्र. 1-3) नीचे दिए गये प्रश्नों में, दो कथन S1 व S2 तथा…
1. रतनपुर के कलचुरिशासक पृथ्वी देव प्रथम के सम्बन्ध में निम्नलिखित में से कौन सा…
आज इस आर्टिकल में हम आपको Haryana Group D Important Question Hindi के बारे में…
अगर आपका selection HSSC group D में हुआ है और आपको कौन सा पद और…
आज इस आर्टिकल में हम आपको HSSC Group D Syllabus & Exam Pattern - Haryana…